लक्ष्य
उत्तर प्रदेश एक्सप्रेसवे औद्योगिकी विकास प्राधिकरण (इसके संक्षिप्त नाम यूपीडा से जाना जाता है) की स्थापना उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा यू.पी. औद्योगिक क्षेत्र विकास अधिनियम 1976 के तहत दिसम्बर 2007 में उत्तर प्रदेश राज्य एक्सप्रेसवे के विकास हेतु किया गया था। यह संगठन एक नवीन स्थापित संगठन है, जिसमें कर्मठ एवं कम कर्मचारी कार्यत हैं, जिन्हें राज्य के राजस्व विभाग/पीडब्लूडी से संविदा/प्रतिनियुक्ति के आधार पर रखा गया है, इनमें से कुछ रिटेनरशिप आधार पर या सर्विस प्रोवाइडर द्वारा भी तैनात किये गए हैं।
दूरदर्शिता
यू.पी सरकार की एक प्रमुख परियोजना प्रतिष्ठित आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे, यूपीडा द्वारा एक अभूतपूर्व समय में पूरा किया गया । यह तेज गलियारा राज्य की राजधानी को आगरा और आगे राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली से जोड़ता है। इस एक्सप्रेस-वे का उद्घाटन 21.11.2016 को हो गया है।
इस एक्सप्रेसवे के बनने से हथकरघा, खाद्य प्रसंस्करण, कोल्ड स्टोरेज, भण्डारण एवं दुग्ध उद्योग के विकास एवं इन्हें स्थापित करने के अवसर भी बढ़ जाएंगे। इस परियोजना से नए औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान, शैक्षिक संस्थान, मेडिकल संस्थान एवं नए उपग्रहों एवं स्मार्ट सिटी को स्थापित करने में भी मदद मिलेगी।
इस एक्सप्रेसवे परियोजना के अलावा, यूपीडा ईपीसी मोड में "पूर्वांचल एक्सप्रेसवे परियोजना, बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे और गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे" नामक तीन प्रवेश नियंत्रित एक्सप्रेसवे परियोजनाओं पर भी कार्य कर रहा है। इन एक्सप्रेसवे परियोजनाओं की कल्पना उत्तर प्रदेश के पूर्वी, दक्षिणी क्षेत्र और राज्य की राजधानी के साथ-साथ देश की राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के बीच एक महत्वपूर्ण हाई स्पीड प्रवेश नियंत्रित सड़क बुनियादी ढांचे के रूप में की गई है।
उक्त एक्सप्रेसवे परियोजनाओं के अलावा, यूपीडा द्वारा मेरठ से प्रयागराज तक गंगा एक्सप्रेसवे का निर्माण किया जा रहा है। यह एक्सप्रेसवे, उत्तर प्रदेश के पूर्वी, उत्तरी और पश्चिमी क्षेत्रों को राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली से जोड़ने वाला हाई स्पीड एक्सप्रेसवे कॉरिडोर प्रदान करेगा।